Sawaliya Seth mandfiya
सेठो के सेठ सांवलिया सेठ का खजाना अब तरह तरह की सोने और चांदी से निर्मित वस्तुओं से भरता जा रहा है। सांवलिया जी को चोर और तस्कर सबसे अधिक मानते हैं क्योंकि सेठ जी भक्तों की मन्नत भी पूरी करते हैं लेकिन अब तो लग रहा है कि पूरा देश ही सेठ जी का दीवाना होता जा रहा है और वक्त तरह-तरह के चढ़ावे चढ़ा रहे हैं। हर बार अब जब भी दानपात्र खोला जा रहा है उसमें से अवश्य सोने चांदी से निर्मित कुछ ना कुछ वस्तु निकल रही है। फिलहाल दानपात्र से निकले हुए पैसों की गिनती भी नहीं हो पाई है। सेठ के अनोखे भक्तों द्वारा चढ़ाई जा रही वस्तुओं का सिलसिला अभी भी जारी है।
एक भक्त ने चढ़ाएं चंदी से बने 4 तास के इक्के
सांवलिया सेठ जी को सोने चांदी से बनी वस्तुएं चढ़ाने का दौर सर्वप्रथम एक किसान द्वारा किया गया था जिसने चांदी से निर्मित बुलेट मोटरसाइकिल सांवरिया सेठ को अर्पित की थी। उसकी बाइक गुम हो जाने के कारण बीमा कंपनी सुन नहीं रही थी तो उसने सेठ जी से मन्नत मांगी थी। उसके बाद एक-एक करके तरह-तरह की सोना और चांदी से निर्मित तरह-तरह की वस्तुएं भक्त सेठ जी को चढ़ा रहे हैं। गुरुवार को ही एक भक्त ने चांदी से निर्मित तास के 4 इक्के सेठ जी को चढ़ाएं। जब दानपेटी खोली गए तो उसमें से चांदी से बने चार ताश के पत्ते निकले, जो किसी भक्त ने मन्नत पूरी होने पर सेठ जी को चढ़ाए थे।
भक्त भी यह देखकर आश्चर्य चकित रह गए
जब सांवरिया सेठ की दानपेटी खोली गई तो उसमें से 4 चांदी से निर्मित तास के पत्ते निकले। जब दान पेटी खोलने वालों ने यह देखा तो वह आश्चर्यचकित रह गए और बाद में जब उनको हाथ में लिया गया तो पता चला कि ताश के पत्ते चांदी से बनाए गए थे। बाकी भक्तों से रहा नहीं गया और उन्होंने पत्ते चढ़ाने वाले भक्तों से पूछ ही लिया है कि आपने चांदी से बने हुए पत्ते सेठ जी को क्यों चढ़ाए हैं। आप चाहते तो किसी अन्य धातु से निर्मित चढ़ा सकते थे। यह सुनकर भक्तों ने कहा कि मैं अपने सेठ जी को कुछ अलग चढ़ावा देना चाहता था।
एक भक्त ने चढ़ाई चांदी की लहसुन
इसके बाद भी चढ़ावे का सिलसिला चलता रहा और एक भक्त ने सांवलिया सेठ को चांदी से बनी लहसुन प्रदान की। भक्त ने जब यह चढ़ावा दिया तो लोगों ने पूछ लिया की आप चांदी की लहसुन क्यों चढ़ा रहे हो लेकिन इस बार भक्त ने कारण बताने से बिल्कुल इनकार कर दिया। तास के पत्तों का वजन 112 ग्राम था जो उदयपुर के किसी भक्त ने चढ़ाएं थे। अभी सोशल मीडिया पर सेठ जी के फोटो के साथ Google से फोटो डाउनलोड करके लगाए जा रहे हैं और स्टेटस डाले जा रहे हैं लेकिन आप जब तक खबर टीवी या अखबार में ना देख ले तब तक उस पर विश्वास ना करें।